- नई दिल्ली (प्याउ)।
दिल्ली के सबसे बड़े बस स्टैंडों में एक आईटीओ में जमुना पार जाने वाली हजारों सवारियां, सांयकाल दिल्ली पुलिस की घौर लापरवाही न अमानवीय कृत्य के कारण परेशान। कई दिनों से सांय काल दफ्तरों से छूटती होने के बस की इंतजारी में यहां उमड़ी भीड़ को यहां पर बसें ही नहीं मिल रही है। दिल्ली पुलिस आईटीओ चौक से ही यमुना पार जाने वाली बसों को सीधे दिल्ली गेट-राजघाट-दिल्ली सचिवालय के होते आईटीओ पुल से निकाल देते हैं। परन्तु इसकी जानकारी दिल्ली पुलिस के वहां पर तैनात जवान बताते तक नहीं। आईटीओ बस स्टैंड पर सैकड़ों बुजुर्ग, महिलाऐं, बच्चे आधा एक धण्टे बस की इंतजारी में बर्बाद करते। कुछ नौजवान आधे किमी दूर सचिवालय वाले स्टेंण्ड में जाकर बस पकड़ लेते है।कई देर बाद कोई भूले भटके कुछ बसें आ भी जाती, तो उसमें भीड़ इतनी हो जाती है कि बुजुर्ग व्यक्ति महिलाओं का चढ़ ना दुश्वार हो जाता है।
परिवहन विभाग व पुलिस विभाग की संवेदनहीनता का न दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को भान है व न देश की कमान संभालने वाले मोदी सरकार को ही। नेता, नौकरशाह ही नहीं लोकतंत्र का चौथा स्तम्भ समझा जाने वाला समाचार जगत के पत्रकार भी सुविधा भोगी हो गये है।ये बसों में नहीं कारों व जहाजों में ही सफर करते हैं। इसी कारण इन किसी को जानकारी होती ही नहीं कि जनता किस हाल में है।